काेशलेश सदन के संस्थापक आचार्य स्वामी रामनारायणाचार्य महाराज के 37 वीं पुण्यतिथि पर संतों ने किया नमन

अयाेध्या। काेशलेश सदन के संस्थापक आचार्य स्वामी रामनारायणाचार्य महाराज काे संताें ने श्रद्धापूर्वक याद किया। माैका था उनके 37 वें पुण्यतिथि महाेत्सव का। इस अवसर पर शनिवार को मंदिर प्रांगण में श्रद्धांजलि सभा का आयाेजन किया गया जिसमें रामनगरी के विशिष्ट संत-महंत और धर्माचार्याें ने पूर्वाचार्य की प्रतिमा पुष्पांजलि अर्पित कर नमन किया। संताें ने संस्थापक आचार्य के कृतित्व एवं व्यक्तित्व पर प्रकाश भी डाला। काेशलेश सदन के वर्तमान पीठाधीश्वर जगद्गुरू स्वामी वासुदेवाचार्य विद्याभास्कर महाराज ने कहा कि उनके गुरूदेव अप्रतिम प्रतिभा के धनी संत थे। उनकी गणना सिद्ध संताें में हाेती रही है। उनका व्यक्तित्व बड़ा ही उदार था। रामनगरी के सभी संत-महंत उनका आदरपूर्वक सम्मान करते थे। अपने जीवनकाल में उन्होंने आश्रम का सर्वांगीण विकास किया। जीवन पर्यंत मठ के उत्तराेत्तर समृद्धि में लगे रहे। आज उन्हीं की देन है कि आश्रम अयाेघ्यानगरी के प्रमुखतम पीठाें में से एक है। जहां गाै, संत, विद्यार्थी व आगंतुक सेवा सुचार रूप से चल रही है।
इस माैके पर मणिरामदास छावनी उत्तराधिकारी महंत कमलनयन दास, लक्ष्मणकिलाधीश महंत मैथिलीरमण शरण, उत्तर ताेताद्रिमठ जगद्गुरु स्वामी अनंताचार्य, जगद्गुरु स्वामी रामदिनेशाचार्य, गाेपाल मंडपम महंत स्वामी कूरेशाचार्य, रसिक पीठाधीश्वर महंत जन्मेजय शरण, बड़ाभक्तमाल महंत अवधेश दास, श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट महासचिव चंपत राय व ट्रस्टी डा. अनिल मिश्रा, हनुमत निवास महंत डॉ. मिथिलेश नंदिनी शरण, मंगलभवन पीठाधीश्वर महंत रामभूषण दास कृपालु, वेद मंदिर महंत रामनरेश दास, श्रीरामाश्रम महंत जयराम दास, महंत राजूदास, महंत रामकुमार दास, महंत हरिसिद्धि शरण, महंत शशिकांत दास, महंत कमलादास रामायणी, महंत रामनरेश शरण, महंत संताेष दास, महंत तुलसीदास, पार्षद पुजारी रमेश दास, प्रियेश दास आदि संत-महंत व भक्तगण उपस्थित रहे।