रामनगरी में मनाया गया अन्नकूट महोत्सव, लगा छप्पन भोग

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October 27, 2022

भगवान राम के लंका विजय कर लौटने की खुशी में दीपावली के दूसरे दिन सूर्य ग्रहण की वजह से बुधवार को मना पारंपरिक उत्सव के रुप में अन्नकूट का पर्व

प्रसिद्ध पीठ हनुमान बाग मंदिर में कचौड़ी, मालपुआ, चूरमा, कढी, दाल, खीर आदि के लगे छप्पन भोग

अयोध्या। लंका विजय कर लौटे भगवान राम की याद में सोमवार की सायं दीपोत्सव के बाद मंगलवार को सूर्य ग्रहण पढ़ने की वजह से अयोध्या के मंदिरों के कपाट बंद रहे। अगले दिन बुधवार को धूमधाम से अन्नकूट महोत्सव मनाया गया। भगवान को सभी मठ-मंदिरों में 56 प्रकार के व्यंजनों का भोग लगाया गया। इस दौरान भक्तों की भीड़ और जय-जयकार से रामनगरी का उत्साह चरम पर रहा। मान्यता है कि 14 साल वनवास और लंका विजय दौरान भगवान राजकीय सुख-सुविधा से सर्वथा दूर रहे, इसलिए अयोध्या आने पर उन्हें वैभव प्रदान करने में कोई कसर न छोड़ी जाय। इसी भाव के अनुरूप रामनगरी के हजारों मठ-मंदिरों में भगवान को 56 प्रकार के व्यंजनों का भोग लगाया गया। इस बीच न केवल भगवान राम, माता सीता समेत चारों भाइयों को भोग लगाने में पूरा भाव व समर्पण अर्पित किया गया बल्कि भोग के बाद प्रसाद ग्रहण करने में भी उत्सव का माहौल रहा। तकरीबन सभी मंदिर भोज-भंडारे के उत्सव से आप्लावित रहे। उत्सव में दूरदराज से आने वाले भक्तों सहित स्थानीय श्रद्धालुओं ने पूरी शिद्दत से शिरकत की।
जिसमें सुबह से ही कनक भवन,जानकी महल ट्रस्ट,हनुमान बाग, रामलला सदन, हनुमानगढ़ी, झुनकी घाट, करतलिया बाबा आश्रम सहित सभी मंदिरों में छप्पन प्रकार के व्यंजन बनाये गए ,जिनकी महक से नगरी का वातावरण सुवासित हो उठा। प्रथम आरती के बाद भगवान को व्यंजनों का भोग लगाकर प्रसाद भक्तों में वितरित किया गया।अन्नकूट महोत्सव में प्रसाद पाने के लिए देश-विदेश के क्षेत्रों से आये श्रद्धालु पंक्ति बद्ध देखे गए। रामनगरी का प्रसिद्ध पीठ हनुमान बाग में महंत जगदीश दास के संयोजन में भव्य दिव्य अन्नकूट महोत्सव मनाया गया। महंत जगदीश दास कहते है कि यह परिदृश्य स्वाभाविक है, निश्चित रूप से भगवान के वन गमन के दौरान अयोध्या पूरे समय व्यथित रही होगी और भगवान जब पूरी कामयाबी से लौटे तो उनके स्वागत-सत्कार के बाद चैन की वंशी बजनी ही थी। कार्यक्रम में शामिल होने पूर्व मंत्री तेजनारायण पाण्डेय पवन, बसपा नेता करुणाकर पाण्डेय, भाजपा नेता छोटे मिश्रा महंत मामा दास मौजूद रहें व्यवस्था में सुनील दास व रोहित शास्त्री लगे रहें।

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