अम्माजी मंदिर से रथ पर विराजमान होकर रामलला सदन देवस्थान् पहुंचे भगवान रामलला, हुआ विशेष पूजन आरती
अष्टमी को रामलला सदन देवस्थान् से भगवान रामलला रथ पर सवार होकर पहुंचेगे अम्माजी मंदिर

अयोध्या। रामलला सदन देवस्थान् मंदिर में रामजन्म उत्सव का उल्लास अपने शिखर पर है। मंदिर में दक्षिण भारतीय परम्परा के अनुसार भगवान का विधिवत पूजन अभिषेक जा रहा है। दक्षिण भारत के प्रख्यात संत पार्थ स्वामी द्धारा स्थापित भगवान रामलला का मिलन महामहोत्सव रविवार को देर शाम मनाया गया।दक्षिण भारतीय परम्परा के अम्माजी मंदिर में शुरू हुए पंच दिवसीय ब्रह्मोत्सव के अवसर पर रविवार को सांयकाल मंगलगिरि वाहन से भगवान की शोभायात्रा बाजे-गाजे के साथ निकाली गई। इस रथयात्रा में तमिलनाडु से आए पारम्परिक वाद्ययंत्रों को भी शामिल किया गया। रथारूढ़ भगवान की सवारी को चेन्नई व अन्य क्षेत्रों से आए तमिल भाषी श्रद्धालु रस्से के सहारे खींच रहे थे। यह यात्रा रामलला सदन देवस्थान् पहुंची जहां भगवान को मंदिर में विराजमान कराके दक्षिण परम्परा अनुसार आचार्यों द्धारा आरती पूजन किया गया इसके बाथ प्रसाद वितरण कर भगवान को पुनः रथ पर विराजमान कराके अम्मा जी मंदिर ले गये।
रामलला सदन देवस्थान् पीठाधीश्वर जगद्गुरु रामानुजाचार्य स्वामी डा राघवाचार्य महाराज के निर्देशन में भगवान रामलला के महा मिलन महोत्सव मनाया गया।
डा राघवाचार्य कहते है कि रामलला सदन देवस्थान् मंदिर में विराजमान भगवान रामलला का उत्सव विग्रह पूज्य पार्थ स्वामीजी द्धारा स्थापित अम्मा जी मंदिर से से यहा स्थापित हुई है। उन्हीं उत्सव विग्रह का मिलन महोत्सव मनाया गया जिसमें रामलला सदन देवस्थान् में अम्मा जी मंदिर से उत्सव विग्रह आयी जिसका यहां विशेष पूजन किया गया। उन्होंने कहा कि अष्टमी तिथि को रामलला सदन का उत्सव विग्रह अम्मा जी मंदिर रथों पर विराजमान होकर जायेगी।